Monday, 1 August 2016

खराब सड़कों ने एक साल में खत्म किया 10 हजार से ज्यादा जिन्दगियों का सफर



भारत में पिछले साल कुल 10,876 लोगों की सड़क के गड्ढों, स्पीड ब्रेकर्स और अंडर कंस्ट्रैक्ट रोड की वजह से मौत हुईं. जबकि इन घटनाओं में सड़क के गड्ढों के कारण मरने वालों की संख्या में 2014 की अपेक्षा पिछले साल 2015 में कमी आई थी. 2014 में जहां यह संख्या 3,416 वहीं 2015 में घटकर 3,039 कम हो गई.
सड़क परिवहन मंत्रालय के अनुसार सड़क दुर्घटना के अन्तर्गत महाराष्ट्र की सड़कों में होने वाले गड्ढों की वजह से मरने वालों की संख्या में 7 गुना से ज्यादा की भारी बढ़ोत्तरी हुई है. वहीं एक गौर करने वाली बात ये है कि जो उत्तर प्रदेश बेकार सड़कों के लिए जाना जाता है, वहां साल 2015 में 2014 की तुलना में 50% तक की कमी आई. और अगर बात करें दिल्ली की जहां शनिवार शाम को एक बाइक सवार की सड़क के गड्ढे की वजह से मौत हो गई, उसी दिल्ली में साल 2015 में इस वजह से 2 मौत हुईं.
सड़क परिवहन मंत्रालय के अनुसार 2015 में देशभर में सड़क के गड्ढों के कारण मरने वालों की कुल संख्या 10,876 है.यह आंकड़ा भी और अधिक भी हो सकता है क्योंकि मंत्रालय पास आंकड़े प्राप्त करने के लिए कोई मजबूत और वैज्ञानिक तरीका नहीं है. सरकारी विभागों के इंजीनियर्स का कहना है कि जब शहरों में हमारे पास बेहतर ड्रैनेज सिस्टम होगा, तब हम सड़कों में मौजूद गड्ढों को सही कर सकते हैं.
साथ ही ऐसी घटनाओं में ट्रैफिक पुलिस की नाकामी भी बड़े पैमाने पर देखने को मिलती है. सड़क परिवहन मंत्रालय द्वारा सड़क नियन्त्रण के नियम के नियम बनाए गए हैं जिनको निभाना हम सभी की जिम्मेदारी है.




Source - ABP News

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